Jaanvi, Ek Chudakkad Bhabhi – Part 5
Ab wasim aur shabana ka rishta khatam ho gaya tha…
जिस्म की जरूरत-22
उनके होठों की नर्मी और साँसों की गर्मी ने मुझे पिघल…
मेरा गुप्त जीवन- 110
कम्मो मुस्कराते हुए बोली- मैं उस दिन ही समझ गई थी क…
Jaanvi, Ek Chudakkad Bhabhi – Part 8
Ab mere dono haath me uski chuchi thi aur uski na…
Jaanvi, Ek Chudakkad Bhabhi – Part 4
Idhar wasim bhi ye sab dekhne k baad hairaan tha …
मेरा गुप्त जीवन -25
निर्मला गैर मर्दों से अपनी चूत चुदाई के किस्से सुनात…
जिस्म की जरूरत -23
मेरा मुँह अब भी उसकी चूत पे टिका हुआ था और मेरी ज…
चूत एक पहेली -50
अब तक आपने पढ़ा.. पायल- नहीं जहाँ आप जा रहे हो.. म…
मेरा गुप्त जीवन- 21
पहले चम्पा और अब फुलवा दोनों ही गर्भवती हो गई तो मु…
धोबी घाट पर माँ और मैं -13
माँ एक बार जरा पीछे घूम जाओ ना!’ ‘ओह, मेरा राजा म…