बड़ौदा में कपल के साथ देसी ग्रुप सेक्स-5

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मैं- जमीला डार्लिंग, तुमने सबीना को कब बुलाया? जमीला- मैं ब्रेकफास्ट के लिए पूछने आई थी तो रफीक तेरा लण्ड चूस रहा था और तुम लोग सबीना की बात कर रहे थे. तो मेरे दिमाग में विचार आया कि सबीना भी रफीक को गांड मरवाते देखना चाहती थी और उसका भी मन रफीक का लण्ड चूसने और चूत चूसवाने का था तो मैंने किचन में जाकर सबीना को फोन किया और सब बात बताई. सबीना खुश हो गई और अगले कुछ मिनट में हम दोनों दरवाजे से तुम्हारे मस्ताना को रफीक की गांड चोदते देखती रही, फिर जब रफीक और तुम सबीना की चूत चूसने और गांड चोदने की बात करने लगे तो ये साली तुम लोगों की बात और चुदाई देख के गर्म हो गई और फिर तुमने देख ही लिया.

उधर सबीना रफीक की तरफ पीठ करके मेरा लण्ड चूसने लगी. रफीक ने मौका देखते ही सबीना की गांड को उठाया और उसको चाटने लगा, उसकी गांड में उंगली देने लगा. मैं और जमीला एक दूसरे को किस कर रहे थे. जमीला मेरे सीने को चूमने लगी, फिर अपनी चुची मेरे मुँह में दे दी. इधर सबीना की चुसाई से मस्ताना फिर चुदाई के लिए तैयार हो गया.

जैसे ही रफीक ने देखा कि मस्ताना चोदने को तैयार है. तो जमीला से सबीना के साथ 69 होने को कह कर जमीला को सबीना के नीचे लिटाया और मेरा मस्ताना पर खुद रफीक ने कंडोम चढ़ाया और बोला- राजेश, अब तेरे सामने दो चूत और दो गांड है, पर मैं चाहता हूँ कि तू पहले दोनों की गांड चोद और मैं दोनों की चूत चोदूँगा, पहले सबीना की गांड चोदो, मैंने सबीना की गांड में कोल्ड क्रीम लगा दी है, तब तक सबीना जमीला की गांड में क्रीम भर कर और उंगली डाल कर ढीली कर देगी.

मैंने सबीना की कमर पकड़ी और लौड़ा जमीला को चुसवाकर सबीना की गांड में धीरे धीरे हिला हिला कर धकेलने लगा. जैसे ही लण्ड का टोपा सबीना की गांड के छल्ले में घुसा, सबीना की चीख निकल गई. मैं रुक गया और जमीला सबीना की चूत चाट कर उसको रिलेक्स करवा रही थी. इधर मैं सबीना के बड़े बड़े मम्मे सहला कर रिलेक्स कर रहा था और उधर रफीक अपनी बहन सबीना को अपना लौड़ा चुसवा कर मजे दे रहा था.

थोड़ी देर में सबीना की आहें मस्ती और आनन्दमयी आहों में बदल गई और मैंने भी लण्ड को सबीना की गांड में आगे सरकाया. उधर सबीना ने रफीक के लण्ड को मुँह से निकाला और जमीला की चूत पर टिका कर बोली- भाई जान, चोदो ना भाभी की चूत, पेल दो अपना लौड़ा!

और वो जमीला की चूत के दाने को चाटने लगी जिससे जमीला तड़पने लगी और रफीक ने जमीला की चूत में लण्ड पेल के चोदना शुरू किया. अब नजारा इस तरह था कि जमीला और सबीना 69 में एक दूसरी की चूत चाट रही थी और मैं सबीना की गांड… रफीक जमीला की चूत चोद रहा था. पूरा कमरा वासनामयी आवाजों से गूंज रहा था, बस ‘आहह… ओह… जोर से चोदो… उम्म्ह… अहह… हय… याह… हाँ ऐसे ही चाटो…हाँ ऐसे ही…’ ये ही आवाजें सुनाई दे रही थी.

थोड़ी देर सबीना की गांड को मैं जोर से चोदने लगा अब मैंने रफीक को बेड से नीचे उतर कर मैंने जमीला को सबीना के नीचे से आगे खिसक कर सबीना की चुचियों पर मुँह ले जाने को कहा तो जमीला आगे खिसक गई और अब उसके मुँह पर सबीना की मस्त बड़ी चुचियाँ थी, जिनको वो चूसने लगी और सबीना का मुँह भी जमीला की चुचियों पर आ गया.

जमीला की गांड दूसरे किनारे पर पहुँच गई तो मैं रफीक से बोला- तुम अब नीचे खड़े होकर जमीला की चूत चोदो.

अब नजारा बदल गया, बेड के एक तरफ से मैं खड़ा होकर सबीना की गांड मार रहा था तो दूसरी तरफ खड़ा होकर रफीक जमीला की चूत चोद रहा था और सबीना और जमीला एक दूसरे की चुचियों को दबाते हुए चूस रही थी. इस तरह 15 मिनट चुदाई की और अब मैंने मस्ताना सबीना की गांड से निकाल कर रफीक को भी जमीला की चूत छोड़ कर, कंडोम पहन कर सबीना की चूत चोदने को कहा.

मैंने बेड के दूसरी ओर जाकर जमीला की गांड के नीचे एक तकिया लगाया और जमीला की गांड में थूक लगा कर मस्ताना को पेलने लगा. जमीला पहले गांड मरवा चुकी थी इसलिए उसको दर्द कम हुआ और हमारी फिर से चुदाई एक्सप्रेस पटरी पर शताब्दी की तरह दौड़ने लगी.

मैंने बीच में चुदाई रोक कर मैंने रफीक को बेड पर चढ़ने को कहा, मैं भी बेड पर चढ़ गया और सबीना और जमीला को फिर 69 में कर दिया और अब मैंने रफीक को फिर सबीना की चूत चोदने को कहा और खुद अपना मस्ताना जमीला की गांड में घुसा कर चोदने लगा, बीच बीच में लण्ड निकाल कर मैं सबीना को और रफीक जमीला को चुसवा कर फिर चोदना शुरू कर देते.

अब हम दोनों की स्पीड बढ़ गई चोदने की तो जमीला और सबीना एक दूसरे की चूत से मुँह हटाकर बोली- लण्ड रस हमारे मुँह में इस पोजीशन में ही निकालना. 5 मिनट बाद रफीक ने कंडोम उतारकर अपना लण्ड जमीला के मुँह में और मैंने जैसे ही लण्ड बाहर निकाला तो खुद सबीना ने कंडोम निकाल कर फेंक दिया और मस्ताना को चूसने लगी. मुश्किल से दो मिनट में मस्ताना ने अपनी पूरी मलाई सबीना को खिला दी और रफीक ने जमीला को!

फिर हम ऐसे ही बेड पर लेट गए और एक दूसरे को बाँहों में भरकर कब सो गए पता नहीं चला.

दोपहर 2 बजे आँख खुली तो सब नंगे लेटे थे. मैंने अपना फोन देखा तो उसमें मोहन की दस मिस कॉल थी. शायद उसने मुझे फोन किया जब हम सो रहे थे. मैंने मोहन को फोन किया तो कोमल ने उठाया- हेलो, राजेश हमने तुमको कितना फोन किया? कहाँ बिजी थे? मैं- सॉरी डार्लिंग सो रहा था, तुम सुनाओ क्या कर रही हो? कोमल- कल शाम को जमीला का फोन आया था, कह रही थी कि उसकी चूत सुजा दी चोद चोद के! तो हमने प्लान किया कि चलो स्काइप पर तुम लोगों के साथ हम भी दिन में चुदाई का आनन्द ले. पर तुमने फोन ही नहीं उठाया. मैं- ओह! ये बात थी, वैसे जमीला ने तुझे बस अपनी ही चूत की कहानी सुनाई. (फुसफुसाते हुए) वैसे मैंने उसकी और उसकी ननद दोनों की चूत सुजा दी पर तुम जमीला को बताना मत.

कोमल- सच? मैं नहीं कहूँगी, पर अभी हम दोनों स्काइप पर नंगे हैं, तुम क्या कर रहे हो? मैं- मैं अभी जगा हूँ यार, 12 बजे तक तो चुदाई की, फिर थोड़ा रिलेक्स होने के लिए सो गए थे, बस अभी जगा ही हूँ.

इतने में रफीक का फोन बजा तो मैंने उसको जगाया. उसने देखा उसके बॉस का फोन था, उसको एक मीटिंग के लिए तुरंत बुलाया था. तो रफीक हम लोगों को मस्ती करने को कह कर जल्दी से कपड़े पहन कर चला गया और इस बीच सबीना और जमीला भी जाग गई.

जमीला ने मुझे पूछा- किसका फोन है? तो मैं बोला- कोमल का है, तेरी चूत के हाल पूछ रही है. तो सबीना बोली- ये वही है ना जिनकी चुदाई तुम जूनागढ़ में करके आ रहे हो? फिर से उसकी चूत में खुजली मचने लगी क्या? जमीला बोली- मुझ से बात करवाओ. मैंने फोन जमीला को दे दिया तो सबीना ने जमीला को स्पीकर ओपन करके बात करने का इशारा किया.

जमीला- हेलो, कैसी हो दीदी? कोमल- मस्त यार, क्या राजेश को सुला कर रखोगी या चुदवाओगी भी? साले का मस्ताना है बड़ा तगड़ा, थकने का नाम ही नहीं लेता. मेरी तो चूत फिर से कुलबुलाने लगी है मस्ताना के लिए! जमीला- सुला नहीं रही हूँ, पर क्या करूँ थक गई चुदवा चुदवा कर… साला पता नहीं कैसा लौड़ा है इसका. चूत चुदवा के थक जाती हूँ पर साले का लण्ड पानी नहीं छोड़ता. कोमल- हाँ यार ऐसा ही कण्ट्रोल है साले का अपने मस्ताना पे बहन चोद का, यार सोचा आज स्काइप पर तुम लोगों की चुदाई देख कर हम भी चुदाई का आनन्द लेंगे. ये मेरी चूत चाट रहे है बात करोगी क्या इनसे? जमीला- हाँ करवाओ, साले से मुझे चूत भी चटवानी है, तुम लोग आओ कभी बड़ौदा.

मोहन- हेलो जमीला डार्लिंग, कैसी हो और खूब चुदवा रही हो दो दिनों से राजेश से? जमीला- क्या बताऊँ यार, ये राजेश का लौड़ा बड़ा मस्त है और चोदता भी मस्त है. मोहन- लौड़ा बहुत मस्त है. और बताओ रफीक कहाँ है? यार आप लोग ही आ जाओ कभी, हम अभी नहीं आ पाएंगे, बहुत बीजी हैं. और यार स्काइप पर आओ ना, हम दोनों भी नंगे हैं, 69 में एक दूसरे का लण्ड चूत चाट रहे है, स्काइप पर ग्रुप चुदाई करते हैं. जमीला- रफीक तो अभी गया कोई जरूरी काम से ऑफिस बुलाया है रात तक आएगा और देखते है मौका मिलेगा तो आएंगे. कोमल दीदी से बात करवाओ.

कोमल- हेलो, बोलो जमीला डार्लिंग क्या कर रही हो? जमीला- कुछ नहीं भाभी, बस नंगी हूँ और चूत चटवा रही हूँ. मैंने सबीना की चूत चाटने लगा और जमीला से बोला जमीला डार्लिंग, सबीना की चूत तुम चाटो, मैं इसकी गांड चोदता हूँ.

कोमल- ये राजेश किसकी गांड चोद रहा है? क्या तुमने गांड भी चुदवा ली यार? रुको मैं तुमको स्काइप कॉल करती हूँ तब दिखाओ. और फोन काट कर स्काइप पर कॉल किया. मैंने कॉल एक्सेप्ट कर ली और कोमल को और मोहन को हैलो बोला.

कोमल- जमीला को दिखाओ ना? तो मैंने जमीला को दिखाया जो मेरा लण्ड चूसने लग गई थी. सबीना से रहा नहीं गया और वो नंगी ही कैमरे के सामने आकर बोली- हेलो कोमल भाभी कैसी हो? मैं सबीना रफीक की छोटी बहन और जमीला की प्यारी ननद. यहाँ भाभी ही नहीं मैं भी मस्ताना से खूब चुदवा रही हूँ. और अपनी गांड दिखा के बोली- देखो भाभी कैसे गांड सुजा दी इस बहन के लौड़े ने गांड मार कर!

कोमल- हेलो सबीना, हम मस्त है पर कभी जमीला ने बताया नहीं तेरे बारे में! मोहन- हेलो सबीना, मस्त सेक्सी लग रही हो, कभी मुझे भी रस चखवा दो अपनी रसीली का! सबीना- अभी तो राजेश को चुसवा रही हूँ, आप भी भाभी को लेकर आ जाओ हम सभी खूब चुदाई करेंगे.

फिर उधर मोहन और कोमल ने चुदाई शुरू कर दी और इधर जमीला और सबीना 69 हो गई. मैं कभी सबीना को चोदता तो कभी लण्ड निकाल कर जमीला को चोदता. इसी तरह चोदते हुए बात भी करने लगे. मोहन- यार राजेश, तेरा तो मुँह और लण्ड सब चूत और गांड में डूबे हुए हैं, तुम बहुत भाग्यशाली हो. मैं- यार सब तेरी मेहरबानी है, यदि तुम नहीं मिलवाते तो आज घर होता, इनकी चुदाई थोड़े कर रहा होता.

फिर हमने चुदाई का मजा लिया और फिर आराम किया. रात को सबीना यहीं हमारे साथ ही रुक गई और रात को दो बार सबीना एक बार जमीला को चोदा और जमीला, सबीना और रफीक की एक एक बार गांड मारी. सुबह चारों एक साथ नहाये और सबीना जमीला और रफीक मुझे रेलवे स्टेशन छोड़ने आये. मैं सबीना के साथ पिछली सीट पर मस्ती करता हुआ आया और फिर आने का वादा लेकर मुझे विदा किया.

उसके बाद मैं दो बार और गया बड़ौदा और एक बार मोहन और कोमल भी मेरे साथ बड़ौदा में उनके साथ मस्ती करने आये.

मैं अब उनके सम्पर्क में नहीं हूँ पर उनके साथ बिताए वो चुदाई वाले पल बहुत मजेदार थे. मैं आपको आगे भी मेरी सच्ची चुदाईयो के बारे में लिखता रहूँगा. आपका प्यार मुझे चाहिए मुझसे फ़ेसबुक पर भी संपर्क करो, मेरे मेल पर भी! मेरी आई डी है [email protected]

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