चूत चुदाई को बेताब पड़ोसन

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दोस्तो मैं राज आज फिर से आप को एक और रियल स्टोरी से अवगत कराने आया हूँ. मेरी पहली चुदाई की कहानी पतिव्रता बीवी की गैर मर्द से चुदाई को काफ़ी लोगों ने पसंद किया और मुझे मेल भी भेजे.. जिससे मैं बहुत प्रभावित हुआ.

जैसा कि मैंने बताया कि मैंने अपनी बीवी संजना को कैसे अपनी फंतासी पूरी करने के लिए गैर मर्द से चुदवाया था. उसी तरह मेरी एक और भी फंतासी थी. यहां मैं यह बता देना चाहता हूँ कि कुंवारे जीवन से ही काफ़ी सारे सेक्स आर्टिकल्स, बॉलीवुड फंतासी स्टोरीज पढ़ते पढ़ते मेरे मन में कई तरह की फंतासियां घर कर गई हैं, जिसे मैं पूरा करना चाहता हूँ. इसमें एक फंतासी किसी गैर शादी-शुदा औरत को चोदने की भी है.

मैं आपको एक बार फिर बता दूं कि मैं एक 30 साल का 177 सेंटीमीटर लंबा एथलीट टाइप की बॉडी वाला बांका जवान मर्द हूँ. मेरे लंड का ओरिजिनल साइज़ 6.2 इंच है, जैसा कि मैंने इरेक्ट पोजीशन में नापा हुआ है. मेरा जो पॉज़िटिव पॉइंट है, वो है मेरी ताकत. जैसा कि मैं पहले भी बता चुका हूँ कि अपनी इसी गुणवत्ता की वजह से मेरी बीवी मुझसे पूरी तरह से संतुष्ट थी और उसके झड़ने के बाद भी मैं काफ़ी देर तक उसको चोदता रहता था.

मैं जहां किराए पर रहता हूँ, वो दो मंज़िला बिल्डिंग है, जिसके ऊपरी मंज़िल पर मैं और निचली मंजिल में मकान मालिक का परिवार और एक पड़ोसी रहता है.

ये बात दुर्गा पूजा के समय की है, मेरी वाइफ संजना 20 दिनों के लिए अपने पीहर चली गई थी. मैं अपनी वाइफ को छोड़ कर जब अपनी जॉब वाली जगह पर आया और मैंने गेट खोला तो पाया कि रूम ऑनर के गेट पर ताला लगा हुआ है.

मैंने बगल के पड़ोसी, जो कि उसी मकान में रहता है, के यहाँ गया और उसे आवाज़ दी.

मेरे पड़ोसी का नाम विजय है. वो अपनी बीवी पायल और अपने एक 6 साल के बेटे के साथ रहता है. उसकी बीवी पायल की उम्र तकरीबन 33-34 साल की होगी. वो देखने में मेरी बीवी संजना से काफ़ी कम सुन्दर है. पायल एकदम दुबली पतली थी. मुझे लगता है कि उसका वजन 44-45 किलो के आस पास होगा. उसका साइज़ 30-26-30 के लगभग का रहा होगा. वो देखने में सांवली थी.

जहाँ तक मेरे वजन का सवाल है तो मेरा वजन 80 किलोग्राम है. मुझे ऐसा लगता था कि जब से मैं इस फ्लैट में रहने आया हूँ, तब से वो मुझे पसंद करती थी, पर मैं उसे उस नजरिये से नहीं देखता था, जिस तरह की उसकी नजर थी. क्योंकि मेरी बीवी ज़्यादा सुन्दर थी.. और ये तो आप भी जानते हैं कि बढ़िया माल को छोड़ कर कौन कम बढ़िया आइटम पर ध्यान देता है.

तो मैंने जैसे ही आवाज़ लगाई, पायल बाहर निकली. मैंने उससे पूछा- अंकल लोग (रूम ऑनर) दिखाई नहीं दे रहे हैं. वो मुस्कुरा कर बोली- ये लोग 20-25 दिन के लिए अपने बेटे के यहाँ गए हैं. मैं ‘अच्छा..’ बोल कर अपने रूम जाने लगा, तो वो फिर बोली- वाइफ को पीहर छोड़ आए क्या? मैं बोला कि हां, उसको छोड़ कर मैं अकेला ही वापस आ गया हूँ. वो फिर बोली कि वो और राहुल भी (उसका पति और उसका बेटा) अपनी दादी के यहां गए हैं. मैंने बोला कि तो मतलब आप अकेली हैं? वो मुस्कुरा कर बोली- हाँ. मैंने पूछा- कब तक आएंगे? वो बोली- पांच दिन बाद.

इसके बाद मैं अपने रूम में चला गया, फिर कुछ देर बाद वहां से अपने ऑफिस चला गया.

मैं जब रात को रूम पर आया तो मैंने टीवी पर एक ब्लूफिल्म चला दी, जिसे देख कर मुझे चुत चोदने का मन करने लगा. बीवी नहीं रहने की वजह से मुझे मन मसोस कर रहना पड़ा. दो दिन में ही मुझे पूरी व्याकुलता और बीवी की कमी खलने लगी. मैं किसी को भी चोदने के लिए व्याकुल हो गया.

उस दिन मैं शाम को ऑफिस से घर आया और अपना गेट खोल रहा था कि मैंने देखा पायल अपने गेट के दरवाजे पर चेयर लगा कर बैठी थी. एकाएक मेरे दिमाग़ में अपनी हवस को पूरी करने का डर्टी आइडिया आ गया.

मैं फिर वहीं रुक गया और उसकी ओर ध्यान देते हुए उससे कहा- क्या भाभी.. मन लग रहा है? वो बोली- मन लगाना पड़ता है. मैंने फिर पूछा- रात को आपको अकेले रहने में डर नहीं लगता है? वो बोली- नहीं.. अब तो आदत हो गई है. मैं बोला- मुझसे तो अकेले नहीं रहा जाता.. देखिए ना मुझे संजना की कमी खल रही है. इस पर वो मुस्कुरा दी.

मैं फिर बोला- अगर आपको किसी चीज़ की ज़रूरत हो तो बोलिएगा. यहाँ तक कि अगर रात को डर भी लगे, तो मुझे ज़रूर जगा लेना. वो कुछ नहीं बोली, सिर्फ़ मुस्कुरा दी. मेरा हिम्मत बढ़ी और मैंने कहा- मेरा नम्बर ले लीजिए, अगर रात को किसी तरह की परेशानी हो तो आख़िर पड़ोसी ही काम आएगा ना.

मैंने जबरदस्ती उसे अपना नम्बर नोट करवा दिया और उसकी आँखों में वासना भरी नज़रों से देखते हुए अपने रूम में चला गया. अब मैं उसे चोदने का आइडिया सोचने लगा.

रात के करीब 11 बजा होगा कि मेरे मोबाइल की घंटी बजी. मैंने मोबाइल उठाया तो अज्ञात नम्बर देखा.

मैंने हैलो बोला, तो उधर से पायल की आवाज़ आई और उसने कहा- रिया है क्या? मैं तो पहले चौंका और फिर बोला- कौन रिया.. और आप तो पायल भाभी हो ना? वो जल्दबाजी में बोली- ओह लगता है ग़लती से आपके पास लग गया, मैं कहीं और लगा रही थी. उसने फ़ोन काट दिया.

मैंने दिमाग़ लगाया तो पाया कि वो झूठ बोल रही थी. वो जानबूझ कर मुझसे घुमा-फिरा कर कुछ और ही चाह रही थी. मैं भी खिलाड़ी आदमी था. मैंने आधे घंटे बाद उसी नम्बर पर कॉल बैक किया उसने तुरंत मेरा फोन उठाया और हैलो किया. मैंने कहा- कुछ बात है क्या, डर लग रहा है क्या? वो धीरे से बोली- हा.. न.. मैं बोला- मैं आऊं?

वो कुछ नहीं बोली.

मैं तुरंत नीचे गया देखा वो पूरा क्रीम पाउडर लगा कर रूम में बैठी हुई थी.

मैंने कहा- ज़्यादा डर लग रहा है तो ऊपर चलिएगा.. मेरे दो बेडरूम हैं. एक में आप सो जाइएगा.

वो पहले ना नुकुर करती रही, फिर नखरा दिखाते हुए मेरे कमरे में आ गई. रूम में आने के बाद मैंने टीवी चालू कर दिया. संयोग से उस वक़्त टीवी पर हेट स्टोरी- 3 मूवी चल रही थी. उसमें ज़रीन ख़ान और हीरो का सेक्स वाला सीन दे रहा था. दोनों चुपचाप उसे देख रहे थे.

एकाएक मैंने बोला- साला आजकल की हिरोइन कितना गंदा गंदा रोल करती हैं. वो बोली- हाँ, पहले कितनी अच्छी हिरोइन थीं. मैंने कहा- आपकी फेवरेट हिरोइन कौन है? तो वो बोली- रेखा. मैंने बोला- वो भी तो बहुत गंदा रोल करती थी. वो बोली- नहीं ऐसा नहीं हो सकता है. मैंने बोला- आपको विश्वास नहीं है, तो देखिए.

मैंने टीवी में पेन ड्राइव डाल कर रेखा की एक फिल्म, जो ओमपुरी के साथ है, उसे देखने लगा. इस फिल्म में रेखा का बहुत ही ज़्यादा सेक्सी और कामुक रोल था.

उसे देख कर उसके चेहरे के भाव से लग रहा था कि वो कुछ शॉक्ड भी थी और कुछ कुछ गर्म भी होने लगी थी. मैं उस समय बाथरूम चला गया.

बाथरूम से निकला तो देखा कि वो रिमोट से पेन ड्राइव में सेव दूसरी मूवी ओपन करना चाह रही थी. एकाएक मुझे याद आया कि उसमें तो बहुत सारी ब्लूफिल्म भरी हुई है. मैं ये सोच कर दरवाजे के किनारे से छुपकर देखने लगा. मैंने देखा कि पायल एक दूसरी मूवी को जैसे ही ओपन करती है तो ब्लूफिल्म खुल जाती है. वो पीछे मुड़ कर बाथरूम की तरफ देखने लगी. मैं छुप गया, वो समझी कि मैं बाथरूम में ही हूँ और फिल्म म्यूट करके देखने लगी.

करीब 5 मिनट तक चुदाई के सीन देखने के बाद उसका हाथ उसकी बुर के ऊपर चला गया. एकाएक मैं धम्म से कमरे में आ गया और बोला- क्या देख रही हैं? वो हड़बड़ा कर टीवी बंद करने लगी तो मैं बोला- अरे बंद मत कीजिए.

उसके करीब आकर मैंने एकाएक उसको गले लगा लिया और उसके होंठ पर अपने होंठ सटा कर चूसने लगा. वो दो मिनट तक शांत रही, फिर वो भी साथ देने लगी. मैंने उसे अपने पलंग पर लिटा दिया और उसके होंठों को बेतहाशा खाने लगा. वो पूरी बदहवासी में मेरा साथ देने लगी.

एकाएक मैंने अपने दोनों हाथ उसके मम्मों पर रख दिए और ज़ोर से दबाने लगा. वो चिहुंक गई और ‘आ आह..’ की आवाज निकालने लगी. उसकी चुचियां संजना से काफ़ी छोटी थीं, पर मुझे बहुत मज़ा आ रहा था.

मैं ब्लाउज के ऊपर से ही उसकी चुचियों को ज़ोर ज़ोर से दबोचने लगा. वो कामुक भाव में बोली- आ… धीरे से करो.. दर्द हो र..हा.. है.

मैं एकाएक उठा और उसकी साड़ी को उसके बदन से अलग कर दिया और उसका ब्लाउज खोलने लगा. पहले उसने मुझे रोकने का प्रयास किया, फिर शांत हो गई. उसका ब्लाउज खुलते ही उसकी मदमस्त चुचियां बाहर आ गईं, क्योंकि उसने ब्रा नहीं पहनी हुई थी.

मैंने आव देखा ना ताव, अपने मुँह से उसके एक चूचे को भर लिया और ज़ोर ज़ोर से चूसने लगा. वो आँख बंद करके इधर उधर सर पटकने लगी और आहें भरते हुए ‘इसस्स.. स.. स.. आ.. ओ..हो..’ करने लगी

मैंने लगभग दस मिनट तक उसके दोनों चूचियों को खूब चूसा, काटा और निचोड़ा. उसके मम्मों की घुंडी पूरी तन कर कड़क और लाल हो गई थीं.

मैंने अब उसके पेटीकोट का नाड़ा खोल कर उसे पूरा नंगा कर दिया. उसकी बुर पूरा काली था और उसकी बुर की झांटेंभी बहुत बड़ी बड़ी थीं. उसकी बुर से काफ़ी पानी निकल रहा था, जिससे उसकी पूरी झांटें भीग गई थीं. चुत के चारों तरफ साइड में पानी लगा हुआ था. मैं आज पहली बार किसी गैर औरत की बुर देख रहा था. मेरा जोश बेकाबू हो गया और मैं पूरा पागल हो गया. मैंने एक भूखे भेड़िए की तरह उसकी बुर पर अपना मुँह सटा दिया.

उसकी आँखें बंद थीं, जैसे ही उसको उसकी बुर में मेरे होंठ के स्पर्श का अनुभव हुआ, वो तो जैसे उछल पड़ी और शरीर को खींचने लगी.

मैंने उसको अपने हाथों से जकड़ कर उसकी बुर पर अपना मुँह रख दिया.

वो बोली- क्या इसको चूसियेगा? मैंने कहा- हाँ आज मैं इसको खा जाऊंगा. वो बोली- छी:.. मेरे पति तो आज तक इसको अपने मुँह के पास भी नहीं ले गया है. मैं बोला- वो साला भडुआ है.

मैंने अपने होंठों को पूरी तरह से उसकी काली, गीली और बाल से भरी हुई बुर में चिपका दिया.

उसकी बुर से एक अजीब सी दुर्गंध आई, जैसे लगा कि वो बुर को साफ नहीं करती थी. पर मुझ पर तो जैसे भूत सवार था. मैंने उसकी गंदी बुर में अपनी जीभ को ठूंस दिया और उसकी बुर को चाटते हुए बुर का पानी पीने लगा.

वो पूरी तिलमिला गई और उसका शरीर कांपने लगा. वो पूरी मस्त होकर ‘आ.. उम्म्ह… अहह… हय… याह… एयेए.. हहा.. उई ईईईई.. सस्स..’ करते हुए बहुत लंबी लंबी साँसें भरने लगी.

मुझे और जोश चढ़ा और मैं उसकी पूरी बुर को एक तरह से खाने लगा और पागलों की तरह उसकी बुर की सारी गंदगी को भी चाट गया. अब मैं उसकी क्लिट को चूसने लगा. वो मेरे इस वार को सह नहीं पाई. उसने ज़ोर से चीखते हुए अपने पूरे शरीर एकदम से टाइट कर लिया और बेतहाशा झड़ने लगी.

मैं भी बेतहाशा उसकी बुर को चूसे जा रहा था. वो अब निढाल हो गई थी और हाँफ रही थी. अब मुझे वो छोड़ने को कह रही थी. पर मैं कहाँ छोड़ने वाला था. मेरा तो अभी सेक्स का पागलपन शुरू हुआ था.

कुछ देर बाद मैं उठा और अपना लंड, जो कि अब लोहे की तरह तन कर खड़ा हो गया था, बाहर निकाला. जैसे ही उसने लंड को देखा, वो बोली- बाप रे बाप इतना बड़ा और मोटा लंड, मेरे पति का तो इससे काफ़ी छोटा है. मैं बता दूं कि उसका पति भी काफ़ी दुबला पतला और बौना टाइप का है. मैंने कहा- अभी बुर में पेलूँगा तो जन्नत का मज़ा आएगा.

मैं अपना लंड उसके मुँह में घुसेड़ने लगा तो वो बोली कि नहीं.. मैंने आज तक इसे मुँह में नहीं लिया है.

तब मैंने सोचा कि अभी ये लोग सेक्स के हरेक पहलू से काफ़ी अंजान हैं.

मैंने फिर रिक्वेस्ट करके उसके मुँह में लंड डाल दिया. उसके छोटे से मुँह में मेरा लंड नहीं समा रहा था, फिर भी वो बढ़े चाव से मेरे लंड को चूसे जा रही थी. वो बोली- ये तो बहुत टेस्टी केला है.

पांच मिनट लंड चूसने के बाद मेरा लंड की सारी नसें एकदम फूल गईं.. लंड भी मोटा हो गया, ऐसा कड़क हो गया जैसे टीएमटी की रॉड हो. मैंने उसके मुँह से अपना लंड निकाल कर, उसे पीठ के बल पलंग पर लिटा दिया और उसकी गांड के नीचे तकिया लगा कर मैं पलंग से नीचे उतर आया. मैं उसकी काली कलूटी बुर में अपना लंड डालने लगा, पर उसकी बुर का पानी सूख जाने की वजह से मेरा लंड का सुपारा भी बुर में नहीं घुस पाया था. वो दर्द से कराहने लगी और बोली- प्लीज़ धीरे धीरे करो..

मैं किचन से सरसों का तेल ले आया और उसकी बुर में तेल गिरा कर पूरा इलाका चिपचिपा कर दिया. फिर मैंने अपने लंड पर भी तेल लगाया और उसकी बुर में लंड को डालने लगा. अब धीरे धीरे मेरा लंड उसकी बुर में जाने लगा. अभी आधा लंड ही गया था कि वो दर्द से तड़फ कर बोली- आह.. बहुत मोटा है, दर्द कर रहा है.

मैं उसकी गर्दन पर चूमने चूसने लगा और चुचियों की घुंडी को चूसने लगा. तभी पता नहीं क्या हुआ कि वो फिर से झड़ने लगी और उसकी बुर से पानी निकलने लगा. मैं धीरे धीरे उसकी बुर में अपना लंड और ज़्यादा अन्दर करने लगा.

मेरा लंड अब उसकी बुर में पूरी तरह से घुस गया था, लेकिन वो कराह रही थी. मैं धीरे धीरे लंड को उसकी चुत में अन्दर बाहर करने लगा. उसकी बुर से पूरा पानी निकल रहा था.

पूरे रूम में उसकी आवाज़ गूँज रही थी- अया.. हह.. इसस्स्सस्स… बाप रे, बहुत मज़ा आ रहा है.. आ..हो.. इसस्स्सस्स.. स.. और जोर से करो.. आह हां..

उसकी मादक आवाजें सुनकर मैं अपनी स्पीड बढ़ाने लगा और ज़ोर ज़ोर से चोदने लगा. उसका दुबला शरीर, मेरा 80 किलो का वजन और मेरे लंड का ज़बरदस्त प्रहार वो बर्दाश्त ही नहीं कर पा रही थी. पूरी तरह से कराह रही थी. मेरा पलंग भी बुरी तरह से आवाज़ कर रहा था.

पायल आँख बंद करके सिसिया रही थी- बाप रे.. मैं गई रे.. अया…. इससस्स.. उम्म्म.. ओयूऊऊ.. हुन्न्ञन्..

मैं लगभग इस तरह 20 मिनट तक लगातार उसको चोदता रहा. फिर मैंने एकदम से स्पीड को बढ़ा दिया. मेरा पूरा रूम ‘फ़च्छ.. फ़च.. फ़चक.. फचक..’ की आवाज़ से गूँज रहा था.

वो पूरे ज़ोर से ‘मर गई बाप रे..’ कहे जा रही थी. मैंने कहा- दर्द कर रहा है क्या? वो बोली- दर्द तो कर रहा है लेकिन उसके हज़ार गुना ज़्यादा मज़ा आ रहा है. इतना मज़ा आज तक मुझे नहीं मिला है.

मैं और ज़ोर ज़ोर से चोदने लगा, वो बोली- हां और ज़ोर से.. मैं अपने पूरे शरीर की ताक़त लगा के पागलों की तरह उसे चोदने लगा और सोचने लगा कि ये साली 40-45 किलो की औरत मेरे वजन को सह कैसे पा रही है.

एकाएक उसका शरीर फिर अकड़ा. वो फिर जबरदस्त तरीके से झड़ने लगी और वो निढाल हो कर पस्त हो गई. पर मेरा लंड अभी तक नहीं झड़ा था.

वो बोली- अब मेरा पूरा शरीर जवाब दे रहा है. अब छोड़ दीजिए ना. मैंने कहा- मेरा अभी तक नहीं हुआ है.. कुछ देर और बर्दाश्त कर लो.

अब मैं उसकी बुर से अपना लंड निकालने लगा तो देखा कि उसकी बुर और मेरे लंड में सफेद सफेद उसका ढेर सारा पानी ने जम कर किसी सफेद सर्फ के झाग की तरह पूरे बालों को ढक लिया था. उस सफेदी में थोड़ा ब्लड भी था, जिससे पता चला कि शायद चोदते चोदते उसकी बुर ज़ख्मी हो गई थी. मैंने उसकी बुर और अपने लंड को साफ किया और अब उसे डॉगी स्टाइल में खड़ा कर दिया.

वो बोली- प्लीज़ अब सहा नहीं जा रहा है, लगता है जैसे बेहोश हो जाऊंगी. मैं बोला- जरा सा सहन करो डार्लिंग.. मेरा पानी भी झड़ने दो ना.

मैंने उसी पोज़ में बुर और लंड में तेल लगा के उसकी बुर में फिर से लंड घुसा दिया. लंड सीधा उसकी बच्चेदानी से टकराया और वो दर्द से कराह उठी. पर मैं जानता था कि इस पोज़ में डायरेक्ट जी-स्पॉट पर लंड टकराता है, जिस वजह से महिला को असीम आनन्द की प्राप्ति होती है.

इस पोज़ में 5 मिनट चोदने के बाद फिर से उसकी बुर गीली हो गई. वो ‘आह.. उहह.. बहुत मज़ा आ रहा है.. आअहह.. इससस्स.. हन्णन्न्..’ करने लगी. पर उसका शरीर मेरे लंड के हमलों को सह नहीं पा रहा था और वो उसी पोज़ में पलंग पर गिर गई. पर मैं पूरे जोश में था और उसको गिरे हुए पोज़ में ही बेतहाशा चोदे जा रहा था.

वो एकाएक फिर अकड़कर उछली और फिर निढाल हो गई. उसने आँख मूंद कर करुणा भरे स्वर में कहा- अब निकाल दीजिए ना.. अगली बार फिर चोद लीजिएगा.

मुझे लगा कि अब ये सह नहीं पाएगी. मैं पूरे ज़ोर से 10-20 धक्का लगाने के बाद उसके बुर में ही झड़ने लगा. मेरा स्पर्म पता नहीं उस दिन इतना ज़्यादा कैसे निकला. मेरे स्पर्म से उसकी पूरी बुर भर गई और वो वहीं उसी पोज़ में सो गई.

मैंने देखा उसकी बुर पूरी तरह से फूल गई थी. पायल ज़ोर ज़ोर से हाँफ रही थी.

मैं बाथरूम जा कर फ्रेश हुआ और आया तो पायल उसी पोज़िशन में सो गई थी. करीब रात को 3 बजे उसकी नींद खुली तो वो पेशाब करने जाने लगी. जैसे ही पलंग से नीचे उतरी, वो लड़खड़ा के गिर गई. मैं सोया था, उसकी आवाज़ सुन कर जागा तो देखा वो गिरी हुई थी. मैंने बोला- क्या हुआ? वो कराह के बोली- पूरा शरीर का पोर पोर दर्द कर रहा है, मुझे टॉयलेट जाना है, पर चल नहीं पा रही हूँ.

मैंने उसे गोद में उठाया और बाथरूम ले गया. उसने बड़ी मुश्किल से पेशाब की और फिर मैंने उसे गोद में ही उठा कर बेड पर ले आया. मेरा लंड फिर खड़ा हो गया था.

उसने खड़े लंड को देखा और कराहते हुए मुस्कुरा कर बोली- अब मुझमें इतनी ताक़त नहीं है कि मैं आपके इस हथियार का सामना कर पाऊं. मैंने लंड हिलाते हुए बोला- डार्लिंग सिर्फ़ एक बार. वो बोली- चुदवा तो नहीं पाऊंगी लेकिन मैं इसे मुँह से चूस ज़रूर सकती हूँ, ऐसे भी मुझे आपके लंड का टेस्ट काफ़ी अच्छा लगा.

मैंने अपना लंड उसके मुँह में डाल दिया. वो बेड पे लेटी लेटी लंड चूसने लगी.

दस मिनट लंड चूसने के बाद बोली- मेरा मुँह दर्द करने लगा है. मैं बोला- तुम बेड पे लेटी रहो मैं लंड से तुम्हारा मुँह को चोदता हूँ.

मैंने 15 मिनट तक उसके मुँह में लंड पेल कर मुँह चुदाई की. उसके मुँह से काफ़ी लार निकलने लगी थी और वो उबकी ले रही थी. फिर वो मुँह को हटा कर बोली- अब छोड़ दीजिए ना.

मैंने फिर अपने आपको प्रेशर डाल कर उसके मुँह में ही अपना माल झड़ाने लगा. वो ऐसा नहीं चाहती थी. उसने मुँह को हटाने का प्रयास किया, पर मैंने उसका मुँह पकड़ कर सारा का सारा माल उसके मुँह में डाल दिया.

मैंने बोला- प्लीज़ इसे खा जाओ ना.. बहुत टेस्टी लगेगा.

पहले तो उसने उल्टी जैसी की, पर बाद में बड़े स्वाद से चाव से खाने लगी. लंड का रस खाने के बाद बोली- बहुत टेस्टी लगा.. जैसे नमकीन नमकीन रबड़ी खा रही हूँ.

वो मुस्कुरा कर मेरे गले से लग गई. मैंने उसे ज़ोर से जकड़ा तो वो कराह दी और अलग होकर बड़े कातिलाना अंदाज़ में बोली- आप मर्द हो कि घोड़ा, इतनी दरिंदगी से कोई चोदता है.

उस रात मुझे और भी एक बार चोदने का मन किया, पर पायल का शरीर पूरी तरह से टूट चुका था. जिस वजह से मैं ना चाहते हुए भी सो गया.

जब तक उसका पति और बच्चा नहीं आया, तब तक कभी वो मेरे फ्लैट में तो, कभी में, उसके फ्लैट में खूब चुदाई का मजा किया.

ये थी मेरी स्टोरी, उम्मीद है दोस्तो कि ये मेरी रियल सेक्स स्टोरी आपको काफ़ी पसंद आई होगी. आपके ईमेल की प्रतीक्षा में हूँ. [email protected]

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