बहन की चूत चोद कर बना बहनचोद -11

This website is for sale. If you're interested, contact us. Email ID: [email protected]. Starting price: $2,000

अब तक आपने पढ़ा.. मैं- अरे नहीं.. मुझे तो लड़की सब से ज्यादा सेक्सी साड़ी में लगती है.. बॅकलैस ब्लाउज हो.. तब तो सोने पर सुहागा लगता है। सोनिया- बैकलैस ब्लाउज क्यों? मैं- क्योंकि इसमें खूबसूरती और भी ज्यादा दिखती है। सोनिया- ओह्ह.. आई सी.. मैं- यॅप.. कुछ देर बात करने के बाद हम घर चल दिए और रास्ते भर मजा लेते रहे.. मैंने उसको घर ड्रॉप कर दिया। अब आगे..

सोनिया- थैंक्स.. आज पूरा दिन तुम्हारे साथ बहुत मजा आया। मैं- माय प्लेजर.. जब भी ज़रूरत पड़े मुझे याद कर लेना.. आपका ये ड्राइवर हाज़िर हो जाएगा। सोनिया- ओके.. सो.. आज शाम को क्या कर रहे हो? मैं- कोई ख़ास प्लान नहीं है.. क्यों कोई बात है क्या?

सोनिया- मेरी एक फ्रेंड की बर्थडे पार्टी है.. अगर तुम फ्री हो तो लेकर चलते.. तो पूछा। मैं- नो प्राब्लम आ जाऊँगा हनी.. सोनिया- घर में भी बोल देना.. रात को यहीं रुक जाओगे.. क्योंकि फॉर्म भी तो भरना है.. लास्ट डेट में सिर्फ़ 2 दिन बचे हैं। मैं- ओके.. अब मैं जाऊँ? सोनिया- ओके बाइ.. जल्दी आ जाना। मैं- ओके..

शाम को जब मैं पहुँचा तो उसके पापा और मम्मी कहीं जा रहे थे तो मैंने पूछा- क्या बात है.. बेटा आया तो आप लोग भाग रहे हैं? ‘अरे नहीं बेटा एक रिश्तेदार के यहाँ शादी है, 4-5 दिन के लिए जाना पड़ेगा..’ ‘तो स्टेशन छोड़ दूँ क्या?’ ‘हाँ छोड़ दो..’

मैं और सूर्या दोनों मिल कर उनको स्टेशन छोड़ आए। सूर्या- कुछ हुआ? मैं- जल्दी हो जाएगा। सूर्या- साले मुझसे कंट्रोल नहीं हो रहा है अब तुम मेरी बहन के साथ घूम रहे हो और मैं अपने लौड़े को हाथ से हिला रहा हूँ। मैं- कोशिश कर रहा हूँ.. जल्दी ही पट जाएगी। सूर्या- ओके जल्दी कर.. नहीं तो मैं तेरे घर चला जाऊँगा।

मैं- तुम मेरे लिए इतना काम किए हो तो मैं भी तुम्हारे लिए कुछ करता हूँ। सूर्या- क्या भाई? मैं- तुम सोनाली से फोन पर बात कर सकते हो। सूर्या- थैंक्स मेरे भाई। मैं- अब घर चल तेरी बहन मेरा इंतज़ार कर रही होगी।

हम दोनों घर वापस आ गए और मैंने उससे बोला- देख, सोनिया रेडी हो गई हो तो चलते हैं। मेरी आवाज सुन कर तो वो बाहर आई तब उसने पारदर्शी गुलाबी साड़ी पहनी थी ब्लाउज भी खुले गले का और जिससे चूचियों की लाइन दिख रही थी.. नीचे नाभि से चार उंगली नीचे साड़ी को बाँध रखी थी। जिससे उसका पेट तो दिख ही रहा था.. साथ में नाभि तो और भी सेक्सी लग रही थी।

मेरे पास आई तो पीछे भी दिख गया.. मेरी आँखें खुली की खुली ही रह गईं। उसने सचमुच बैकलैस ब्लाउज पहना था.. पीछे सिर्फ़ दो डोरियाँ थीं जो ब्लाउज को बाँध रखे थीं.. नहीं तो पीछे का पूरा भाग गर्दन से चूतड़ों के उभार तक नंगी थी। उसे देख कर तो मेरा लंड खड़ा हो गया.. मेरा क्या सूर्या का भी हो गया होगा।

वो इतनी सेक्सी लग ही रही थी कि किसी का भी खड़ा हो जाए.. और मैं ये सोच कर मन ही मन खुश हो रहा था कि ये तो पट गई। अब क्योंकि मैं जिस ड्रेस के बारे में उसको दिन में बोला था वो वैसी ही ड्रेस पहने हुई थी.. मतलब अपना काम बन गया भाई।

सोनिया मुस्कुराती हुई बोली- चलें? मैं- हाँ चलो.. वो बाइक पर पीछे बैठ गई.. ‘ठीक से बैठ गई ना?’ सोनिया- हाँ..

मैंने गाड़ी आगे बढ़ा दी.. तो वो मुझसे एकदम चिपक कर बैठी थी। मैं- थैंक्स.. सोनिया- क्यों? मैं- मेरे पसंद की ड्रेस पहने के लिए.. सोनिया- तुम मेरे लिए इतना किए हो तो क्या मैं इतना भी नहीं कर सकती थी.. मैं- आज तुम बहुत ही सेक्सी लग रही हो। सोनिया- क्या? मैं- एकदम हॉट और सेक्सी आइटम लग रही हो.. पार्टी में हर कोई तुमको ही देखेगा.. बेचारी बर्थडे गर्ल फीकी पड़ जाएगी। सोनिया- ऊऊओहू ऊओहो.. तारीफ कर रहे हो या फ्लर्टिंग? मैं- तुम जो समझ लो।

कुछ दूर चलने के बाद बारिश शुरू हो गई.. तो मैंने जानबूझ कर जंगल वाला रास्ता चुना कि बारिश में फंसे तो जंगल में ही तो कुछ करने का ज्यादा चान्स मिलेगा और शायद मेरी किस्मत को भी यही मंजूर था। अभी हम लोग आधे जंगल ही पहुँचे होंगे कि बारिश तेज होने लगी। सो हम एक पेड़ के नीचे रुकने के लिए भागे.. लेकिन तब तक हम भीग चुके थे और भीगने के कारण कपड़े उसके बदन से चिपक गए थे.. जिससे वो और भी सेक्सी लग रही थी।

आप लोगों ने भी किसी को भीगे कपड़ों में देखा होगा… सो अंदाज़ा तो लगा ही सकते हैं कि वो कितनी सेक्सी लग रही होगी। मेरा लंड तन कर पैन्ट फाड़ने को रेडी था कि तभी ज़ोर से बिजली कड़की और वो मेरे गले से लग गई।

मैंने भी मौके का फ़ायदा उठाते हुए उसको अपने से चिपका लिया। पहली बार उसके पूरे बदन को मैं महसूस कर रहा था.. तो मैंने सोचा इतना अच्छा मौका है तो उसका फ़ायदा तो उठाना ही चाहिए।

मैंने उसकी गर्दन कर हल्का सा किस कर दिया और किसी भी लड़की को अगर गर्दन पर किस किया जाए तो वो अन्दर से हिल जाती है.. सो वो भी सिहर उठी और मुझे और भी ज़ोर से पकड़ लिया।

मैं समझ गया कि ये गरम हो रही है.. सो मैं उसके नंगे बदन पर हल्के से हाथ फेरने लगा.. जिससे वो और एग्ज़ाइटेड हो रही थी। अभी आगे कुछ और होता उससे पहले मैंने उसके होंठों पर अपने होंठ रख दिए और लिप किस करने लगा। तब तक मेरा हाथ कैसे शांत बैठा रहता.. सो मेरा हाथ भी उसके चूतड़ों तक पहुँच गया और उसको दबाने लगा।

उम्मीद से ज्यादा मुलायम चूतड़ थे.. उसके चूतड़ों को कुछ देर ऐसा करने के बाद मैं नीचे बढ़ने लगा। उसकी गर्दन पर किस करते हुए चूचियों के पास पहुँचा और ऊपर से ही चूसने लगा।

फिर और नीचे को बढ़ा.. पेट पर किस करने लगा.. तो वो चहकने लगी.. उसके मुँह से निकलने वाली सीत्कार मुझे बहुत ही मीठी लग रही थीं।

कुछ देर ऐसा करने के बाद मैं फिर ऊपर चूचियों की तरफ़ बढ़ने लगा और ब्लाउज के ऊपर से ही चूचियों को काटने-खाने लगा। फिर मैंने हाथ को पीछे किया और ब्लाउज की डोर को खोलने ही वाला था कि उसने मेरा हाथ पकड़ लिया।

सोनिया- नहीं.. रूको.. ये सब ग़लत हो रहा है। मैं- कुछ ग़लत नहीं हो रहा है मेरी जान.. मैं तुम से प्यार करता हूँ। सोनिया- और तुम ये सब कर रहे थे.. पता नहीं मुझे क्या हो गया था.. मैं तुमको नहीं रोका.. सॉरी..

मैं उसको खींच कर अपने से चिपका कर बोला- मेरी जान.. शायद तुम भी मुझसे प्यार करती हो.. तब तो इतना कुछ हुआ.. लेकिन नहीं रोका तो अब किस बात का डर है?

सोनिया- हाँ मैं भी तुमसे प्यार करती हूँ लेकिन तुम मुझसे छोटे हो और मेरे भाई के दोस्त हो.. सूर्या को पता चलेगा तो उसको कितना बुरा लगेगा उसने भरोसा करके मुझे तुम्हारे साथ भेजा। मैं- उसे पता चलेगा तब ना.. और जब ज़रूरत पड़ेगी तो मैं उसको बता दूँगा। सोनिया- मुझे कुछ समझ में नहीं आ रहा है.. अब घर वापस चलो।

मैं- ओके लेकिन तुम पूरी भीग गई हो सो मैंने उसको बाइक की डिक्की में से रेनकोट निकाल कर दिया और बोला- लो इसको पहन लो.. तो उसको पहन लिया और हम घर आ गए।

जब मैं अन्दर गया तो देखा सूर्या फोन पर बात कर रहा था, मैं समझ गया कि सोनाली से बात कर रहा होगा।

खैर.. सोनिया अपने कमरे में कपड़े बदलने चली गई और मैंने भी सूर्या के कपड़े लेकर पहन लिए और उसके कमरे में चला गया।

सोनिया- तुम यहाँ क्या कर रहे हो.. भाई यहीं है। मैं- नहीं है.. कुछ खाने का सामन लाने गया है। सोनिया- क्या हुआ बोलो? मैं- सॉरी बोलने आया हूँ। सोनिया- किस बात का?

मैं- कुछ देर पहले जो हुआ उस बात के लिए.. मुझे लगा तुम भी मुझसे प्यार करती हो.. सो.. लेकिन शायद मुझे अभी भी लग रहा है कि तुम मुझसे प्यार करती हो। आज रात मैं यही रुक रहा हूँ तुमने कहा था ना.. तुम्हारा फॉर्म भरने के लिए। तुम मुझे रात को जगा देना.. 12-1 बजे के बाद.. तब मैं भर दूँगा और हाँ मुझे अभी भी लगता है कि तुम मुझसे प्यार करती हो। अगर तुम्हारे मन में मेरे लिए थोड़ी सी भी फीलिंग हो.. तो रात को मेरा दिया हुआ ड्रेस पहन कर आना.. अगर तुम वो ड्रेस पहन कर आओगी.. तो मैं ‘हाँ’ समझूँगा.. नहीं तो मैं फिर तुमको कभी भी परेशान नहीं करूँगा।

इतना बोल कर मैं वापस लौट आया और मन में सोचा कि लगता है अब इस तरह एमोशनल ब्लैकमेल करके काम बन जाएगा.. रात का खाना बन गया था.. सब खा रहे थे.. तभी।

दोस्तो,.. मेरी कहानी आपको वासना के उस गहरे दरिया में डुबो देगी जो आपने हो सकता है कभी अपने हसीन सपनों में देखा हो.. इस लम्बी धारावाहिक कहानी में आप सभी का प्रोत्साहन चाहूँगा। मुझे ईमेल करके मेरा उत्साहवर्धन अवश्य कीजिएगा। कहानी जारी है। मेरी फेसबुक आईडी के लिए मुझे एड करें https://www.facebook.com/profile.php?id=100010396984039&fref=ts

[email protected]

This website is for sale. If you're interested, contact us. Email ID: [email protected]. Starting price: $2,000